73 वाँ स्वतंत्रता दिवस...

               73 वाँ स्वतंत्रता दिवस 
भा को आजाद हुए ७२ वर्ष हो गए है और हमें गर्व है कि आज हमारा देश सतत् विकास के पथ पर चल रहा है और यह विकास हमारे भारतमाता के वीर सपूतों के बलिदान का परिणाम है। सच में उस असंख्य अतुल्य बलिदान के कारण ही आज हम आराम की श्वास ले पा रहें हैं। आज हम उन वीर सपूतों के ऋणी हैं... 
उनकी विचारधारा "वसुधैव कुटुम्बकम " थी, अतः वे अपने हित को न सोचकर देशहित को सर्वोपरी मानते थे।
 भारतमाता के वीर सपूतों को मेरी अश्रुपूरित श्रध्दांजलि...
     आवाज देश की है , आशीष देश का है ।
       आदेश हमें हो तो ,यह शीश देश का है ।।
       

   हमारे देश की माटी पूजनीय है , वन्दनीय है । हमारे देश भक्तो के लिए एक फूल के मानसिक उदगार को देखिए  ... 
मुझे तोड़ लेना बनमाली ,
           उस पथ में तुम देना फेक।
 मातृभूमि पर शीश चढ़ाने ,
            जिस पथ जावें वीर अनेक।।

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